बजट से पहले बड़ा सवाल: क्या रामलुभाया कमेटी की रिपोर्ट आउट हो गई है, यहां पढ़े कितने जिले और संभाग बनेंगे

क्या रामलुभाया कमेटी की रिपोर्ट आउट हो गई है, यहां पढ़े कितने जिले और संभाग बनेंगे
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Highlights

प्रदेश में 7 जिले और 3 सम्भाग बनाने की तैयारी, सेवानिवृत्त आईएएस डॉ. रामलुभाया कमेटी के नाम से वायरल रिपोर्ट 
रिपोर्ट पहले वायरल होने से उठ रहे सवाल, प्रदेश में 40 जिले और 10 सम्भाग होगें
जनवरी के अन्तिम सप्ताह में पेश होने वाले बजट में घोषणा करेगें मुख्यमंत्री अशोक गहलोत
चुनावों से पहले गहलोत का बड़ा दावं बताया जा रहा है, प्रदेश को कोटा में तीसरी पुलिस कमिश्नरेट भी मिलेगी। 

Jaipur | क्या रामलुभाया कमेटी की रिपोर्ट आउट हो गई है। सोशल मीडिया पर वायरल खबर है कि चुनावी साल में राज्य सरकार ने प्रदेश में 7 जिले और 3 संभाग बनाने की कवायद शुरू की है। प्रदेश सरकार के एक विधायक नंगे पैर धरती नाप रहे हैं तो बजट से पहले इस तरह की रिपोर्ट का बाहर आना कई सवाल भी उठा रही है।

खैर! यदि यह रिपोर्ट सच्ची है तो प्रदेश में अब सात की जगह दस संभाग होंगे। बाड़मेर, चित्तौड़गढ़ और सीकर को नया संभाग मुख्यालय के तौर पर जाना जाएगा।

कोटा में पुलिस कमीश्नर पद्धति लागू होगी। यदि नहीं वायरल रिपोर्ट कहती है कि प्रदेश में ब्यावर, बालोतरा, भिवाड़ी, नीम का थाना, कुचामन सिटी, सुजानगढ़ और फलौदी को जिला बनाया जाएगा।

कोटा को विकास प्राधिकरण भी मिलेगा। परन्तु कोटपूतली का नाम शामिल नहीं होने से रिपोर्ट पर प्रश्न भी खड़े हो रहे हैं।

नये जिलों और तीन संभागों के बाद Rajasthan

  • जयपुर संभाग- जयपुर संभाग (Jaipur Division) में जिला जयपुर, दौसा, अलवर के साथ नये जिले भिवाड़ी को शामिल किया जायेगा।
  • सीकर संभाग- जयपुर संभाग से जिला सीकर, झुन्झुनू और बीकानेर संभाग से जिला चूरू को शामिल कर नये जिले नीम का थाना को मिलाकर शेखावाटी क्षैत्र में नये संभाग सीकर (sikar Division) का गठन किया जायेगा।
  • बीकानेर संभाग- बीकानेर संभाग (Bikaner Division) में बीकानेर, गंगानगर, हनुमानगढ़ जिले रहेंगे और नये जिले सुजा1नगढ़ को शामिल किया जायेगा।
  • जोधपुर संभाग- जोधपुर संभाग (Jodhpur Division) में जिला जोधपुर और पाली यथावत रहेंगे। भौगोलिक स्थिति और समानता के कारण अजमेर संभाग से नागौर जिले को जोधपुर में शामिल किया जाएगा और नये जिले फलौदी को जोधपुर संभाग में शामिल किया जाएगा।
  • बाङमेर संभाग (Barmer Division)  - जोधपुर संभाग से जिला बाङमेर, जैसलमेर और जालोर के साथ नये जिले बालोतरा को शामिल कर बाङमेर नया संभाग बनाया जाएगा।
  • अजमेर संभाग- अजमेर संभाग (Ajmer Division) में अजमेर और टोंक जिलों के साथ नये जिले ब्यावर और कुचामन सिटी को शामिल किया जाएगा।
  • चितौड़गढ़ संभाग- (Chittorgarh Division)  उदयपुर संभाग से चितौड़गढ़, प्रतापगढ़ तथा बांसवाड़ा जिला और अजमेर संभाग से भीलवाड़ा को मिलाकर चितौड़गढ़ को नया संभाग मुख्यालय बनाया जाएगा।
  • उदयपुर संभाग- उदयपुर संभाग (Udaipur Division) में उदयपुर, डूंगरपुर, राजसमन्द जिले रहेंगे और भौगोलिक स्थिति, दूरी को देखते हुए जोधपुर संभाग से सिरोही जिले को उदयपुर संभाग में शामिल किया जाएगा।
  • कोटा संभाग- कोटा संभाग (Kota Division) यथावत रहेगा। इसमें पूर्व की भांति कोटा, बून्दी, झालावाड़ और बारां जिले रहेंगे। लेकिन कोटा संभाग में प्रदेश की तीसरी पुलिस कमिश्नरेट बनाई जाएगी। संभाग मुख्यालय को विकास प्राधिकरण (KDA) भी मिलेगा।
  • भरतपुर संभाग- भरतपुर संभाग (Bharatpur Division) भरतपुर, धौलपुर, सवाई माधोपुर और करौली जिले के साथ यथावत रहेगा। 

ये जिले 

  1. जयपुर संभाग- जयपुर, दौसा, अलवर, भिवाड़ी
  2. सीकर संभाग- सीकर, झुन्झुनू, चूरू, नीम का थाना
  3. बीकानेर संभाग- बीकानेर, गंगानगर, हनुमानगढ़, सुजानगढ़
  4. जोधपुर संभाग- जोधपुर, पाली, नागौर, फलौदी
  5. बाङमेर संभाग- बाड़मेर, जैसलमेर, जालौर, बालोतरा
  6. अजमेर संभाग- अजमेर, टोंक, ब्यावर, कुचामन सिटी
  7. चितौङगढ संभाग- चितौड़गढ़, प्रतापगढ़, बांसवाड़ा, भीलवाङा
  8. उदयपुर संभाग- उदयपुर, डूंगरपुर, राजसमन्द, सिरोही
  9. कोटा संभाग- कोटा, बून्दी, झालावाड़, बारां
  10. भरतपुर संभाग- भरतपुर, धौलपुर, सवाई माधोपुर, करौली

इन जगहों से आए रामलुभाया कमेटी के पास जिला बनाने को लेकर प्रपोजल 
कोटपूतली, बालोतरा, फलोदी, डीडवाना या कुचामन, ब्यावर, भिवाड़ी के नाम सबसे आगे हैं. सांभरलेक, शाहपुरा, कोटपूतली, दूदू, विराटनगर, नीम का थाना, फतेहपुर, शेखावाटी, श्रीमाधोपुर, खंडेला, उदयपुरवाटी, बहरोड़, खैरथल, भिवानी, नीमराणा, बाड़मेर का बालोतरा और गुडामालानी, पोकरण, ब्यावर, केकड़ी, मदनगंज किशनगढ़, फलोदी, डीडवाना, कुचामन सिटी, मकराना, मेड़ता सिटी, सुजानगढ़, रतनगढ़, जसवंतगढ़ , लाडनूं, अनूपगढ़, सूरतगढ़, घड़साना, श्रीविजयनगर, नोहर, भादरा, नोखा, रामगंज मंडी, छबड़ा, भवानीमंडी, डीग, बयाना, कामां, नगर, गंगापुर सिटी का नाम जिला बनाने की मांग में शामिल है.  

जिला बनाने के लिए यह मापदंड

  • वर्तमान जिला मुख्यालय से 50 किलोमीटर दूरी न्यूनतम होनी चाहिए
  • आसपास के क्षेत्र, तहसील आदि मिलाकर करीब 10 लाख की आबादी होना
  • कम से कम 3 से 4 तहसील और उपखंड मुख्यालयों का शामिल होना
  • भविष्य की प्रशासनिक जरूरतों को पूरा करने के आर्थिक संसाधन मौजूद हो
  • इसके साथ ही जिला स्तरीय कार्यालय जिसमें कलेक्ट्रेट, एसपी ऑफिस, जिला न्यायालय, राजकीय कॉलेज सहित अन्य दफ्तरों के भवनों की व्यवस्था होना जरूरी है
  • क्षेत्र में सड़क, पानी, बिजली, चिकित्सा, शिक्षा व रेल परिवहन की उचित व्यवस्था
  • सरहदी क्षेत्र में होने पर सेना या केंद्र की किसी एजेंसी या मंत्रालय की आपत्ति न होना, पड़ोसी राज्यों से कोई सीमा विवाद न हो और राजनीतिक स्तर पर भी कोई विवाद नहीं होना चाहिए

रिपोर्ट आउट हुई है तो बड़ा सवाल है

यदि वायरल हो रही यह रिपोर्ट सही है तो बजट से पहले ही जिला बनाने जैसी महत्वपूर्ण रिपोर्ट का आउट होना सरकार पर बड़ा सवाल खड़ा करती है।

जिला बनने पर जिला कलक्टर, एसपी से लेकर जिला न्यायाधीश जैसे बड़े स्तर से निचले स्तर तक के पदों का सृजन होता है। बड़े इन्वेस्टमेंट और जमीनों की दरों से जुड़े फैसले होते हैं।

आम जन के पते से लेकर व्यापार तक में बड़ा उतार चढ़ाव आता है। ऐसे में भू—माफियाओं और रसूखदारों की चांदी से इनकार नहीं किया जा सकता।

खैर! अभी तो देखना है कि सीएम जिले बनाने को लेकर यही रिपोर्ट पढ़ते हैं या फिर कोई बदलाव होता है। हालांकि इस रिपोर्ट के सही या गलत होने को लेकर सरकार की ओर से अभी तक किसी तरह का बयान नहीं आया है।

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