शक्ति प्रदर्शन नहीं, भक्ति दर्शन: वसुन्धरा राजे का फागोत्सव, पहले कहा- मुझे किसी शक्ति प्रदर्शन की आवश्यकता नहीं है...
वसुंधरा राजे ने आज गोविंद देव जी के दरबार में मनाया फागोत्सव 36 क़ौमों और मजहबों को साथ लेकर चलने में विश्वास जीणमाता और श्याम बाबा के भी लगाई ढोक
जयपुर | चूरू के सालासर धाम में होली से पहले ही भव्य तरीके से अपना जन्मदिन मनाने वाली राजस्थान की पूर्व मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे ने प्रदेश की गहलोत सरकार को ही नहीं बल्कि, अपनी पार्टी के नेताओं को भी खुली चेतावनी दे दी है।
राजे के इस भव्य आयोजन को सियासी गलियारों में उनके शक्ति प्रदर्शन का बताया जा रहा है। हालांकि, राजे ने इससे इनकार करते हुए कहा है कि, न जाने क्यों मेरे भक्ति दर्शन को शक्ति प्रदर्शन का नाम दिया जा रहा है।
राजे ने कहा कि, मैं तो हमेशा से अपना जन्मदिन इसी तरह से मनाती आती रही हूं, लेकिन पिछले 3 साल से मेरे भक्ति दर्शन को शक्ति प्रदर्शन का नाम दिया जा रहा है।
आपको बता दें कि, राजस्थान की पूर्व सीएम वसुंधरा राजे का जन्मदिन 8 मार्च को आता है लेकिन इस बार होली का पर्व होने चलते उन्होंने अपना जन्म दिन 4 मार्च को चूरू के सालासर धाम में मनाया है।
आज गोविंद देव जी के दरबार में मनाया फागोत्सव
भाजपा में चल रही सियासी गरमाहट के बीच राजे ने आज जयपुर के आराध्य देव श्री गोविंद देव जी मंदिर में दर्शन-पूजन कर यहां आयोजित फागोेत्सव में भाग लिया।
इस दौरान दिव्य दरबार में फाग के रंग में भक्ति और आस्था का अद्भुत ज्वार दिखा और ’श्री राधे गोविंद’ के जयकारे गूंजते रहे। इसे बाद राजे गुरुद्वारे में भी मत्था टेकने पहुंची और गुरु जी से देश व प्रदेश में सुख-समृद्धि की अरदास की।
जीणमाता और श्याम बाबा के भी लगाई ढोक
आपको बता दें कि, इससे पहले रविवार को वसुंधरा राजे ने खाटू नगरी पहुंच कर श्याम बाबा के दर्शन कर आशीर्वाद लिया था। इसी के साथ राजे शक्तिपीठ जीणमाता के दर्शन के लिए भी पहुंची थी.
जहां उन्होंने जीणमाता की थली पर वैदिक मंत्रोच्चार के साथ धोक लगाई और मन्नत का नारियल माता की चौखट पर अर्पित किया।
इस दौरान राजे के साथ पूर्व मंत्री युनूस खान, अशोक परनामी व विधायक राजपाल शेखावत समेत कई समर्थक भी मौजूद रहे थे।
मुझे किसी शक्ति प्रदर्शन की आवश्यकता नहीं
इस दौरान पूर्व मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे ने मीडिया से बातचीत में कहा था कि हर साल मेरे जन्मदिवस पर प्रदेशभर से आप, मेरा परिवार मुझे शुभकामनाएं देने आते हैं, लेकिन इसको शक्ति प्रदर्शन का नाम देना सही नहीं है, क्योंकि मुझे किसी शक्ति प्रदर्शन की आवश्यकता नहीं है।
ये मेरा शक्ति प्रदर्शन नहीं, बल्कि सही मायने में भक्ति दर्शन है। जिसमें मुझे भगवान के साथ प्रदेशवासियों के दर्शन का अवसर भी मिलता है।
36 क़ौमों और मजहबों को साथ लेकर चलने में विश्वास
पूर्व सीएम राजे ने ये भी कहा कि, मैं सभी 36 क़ौमों और मजहबों को साथ लेकर चलने में विश्वास करती हूं और खुशी है कि मुझे उन सभी का साथ और आशीर्वाद मिला है।
गौरतलब है कि इसी साल राजस्थान में विधानसभा चुनाव होने जा रहे है। ऐसे में राजे की इन गतिविधियों चुनावी तैयारियों के नजरिए से देखा जाने लगा है।