हाईकोर्ट ने सुनाया फैसला: चुनावी रण के बीच जयपुर मेयर मुनेश गुर्जर को लेकर आई बड़ी खबर

मेयर मुनेश गुर्जर (munesh gurjar) को लेकर राजस्थान हाईकोर्ट ने बड़ा फैसला सुनाते हुए उनका निलंबन रद्द कर दिया है। जस्टिस अनूप ढंड की एकलपीठ ने निलंबन आदेश को रद्द करते हुए स्वायत्त शासन विभाग की जांच को दुर्भावनापूर्ण बताया। 

munesh gurjar

जयपुर | राजस्थान में चल रही चुनावी माथापच्ची के बीच राजधानी जयपुर के हेरिटेज नगर निगम की मेयर को लेकर बड़ी खबर सामने आई है।

मेयर मुनेश गुर्जर (munesh gurjar) को लेकर राजस्थान हाईकोर्ट ने बड़ा फैसला सुनाते हुए उनका निलंबन रद्द कर दिया है। 

जस्टिस अनूप ढंड की एकलपीठ ने निलंबन आदेश को रद्द करते हुए स्वायत्त शासन विभाग की जांच को दुर्भावनापूर्ण बताया। 

वहीं, एक महीने में फिर से जांच करने के निर्देश भी दिए। न्यायाधीश ढंड की एकलपीठ ने यह आदेश मुनेश गुर्जर की याचिका को स्वीकार करते हुए दिए हैं। 

कोर्ट ने 22 सितंबर को दोबारा निलंबित करने के राज्य सरकार के आदेश को अवैध बताते हुए इसे रद्द कर दिया है। साथ ही कोर्ट ने मामले में की गई प्रारंभिक जांच को भी रद्द कर दिया है।

इस मामले में दोनों पक्षों की दलीलें सुनने के बाद हाईकोर्ट ने 28 नवंबर को याचिका पर अपना फैसला सुरक्षित रख लिया था। 

आपको बता दें कि एसीबी ने जयपुर हेरिटेज नगर निगम मेयर मुनेश गुर्जर के घर पर 4 अगस्त 2023 को छापेमारी की कार्रवाई की थी। 

जिसके बाद एसीबी टीम ने मेयर के पति सुशील गुर्जर और दो दलालों को गिरफ्तार किया था। इसमे मेयर मुनेश गुर्जर की भी  संलिप्तता मानते हुए स्वायत्त विभाग ने उन्हें निलंबित कर दिया था। 

जिस पर मुनेश गुर्जर ने सरकार के आदेश को चुनौती देते हुए हाईकोर्ट में याचिका दायर की थी। 

मेयर के घर मिले थे 40 लाख रुपये कैश

गौरतलब है कि मेयर मुनेश गुर्जर के पति सुशील पर पट्टा बनाने के बदले 2 लाख रुपये की रिश्वत मांगने का आरोप था।

जिसके बाद मेयर के घर पर एसीबी टीम ने छापा मारा तो तलाशी के दौरान 40 लाख रुपये कैश मिले थे। 

इसके साथ ही एक दलाल के घर से 8 लाख रुपये नकद भी बरामद हुए।