जयपुर: जयपुर: रिहायशी इलाके में तेंदुए की दस्तक, CCTV में कैद
राजधानी जयपुर (Jaipur) के दुर्गापुरा (Durgapura) स्थित लाल बहादुर नगर कॉलोनी (Lal Bahadur Nagar Colony) में देर रात एक तेंदुआ घूमता हुआ देखा गया, जिससे इलाके में दहशत फैल गई। वन विभाग (Forest Department) ने सर्च ऑपरेशन शुरू कर दिया है।
जयपुर: राजधानी जयपुर (Jaipur) के दुर्गापुरा (Durgapura) स्थित लाल बहादुर नगर कॉलोनी (Lal Bahadur Nagar Colony) में देर रात एक तेंदुआ घूमता हुआ देखा गया, जिससे इलाके में दहशत फैल गई। वन विभाग (Forest Department) ने सर्च ऑपरेशन शुरू कर दिया है।
रिहायशी इलाके में तेंदुए की दस्तक
राजधानी जयपुर के रिहायशी इलाकों में एक बार फिर तेंदुए की दस्तक से हड़कंप मच गया है।
यह घटना कल देर रात दुर्गापुरा स्थित लाल बहादुर नगर कॉलोनी में हुई, जहां एक तेंदुआ घूमता हुआ देखा गया।
इस घटना से इलाके के लोगों में भारी दहशत फैल गई है।
यह कॉलोनी पूर्व सांसद रामचरण बोहरा के आवास के बिल्कुल पास स्थित है।
तेंदुए की यह चहलकदमी घरों के बाहर लगे सीसीटीवी कैमरों में स्पष्ट रूप से कैद हो गई है।
फुटेज में तेंदुआ आराम से कॉलोनी की सड़कों पर विचरण करता हुआ दिखाई दे रहा है।
यह दृश्य इस बात की पुष्टि करता है कि वन्यजीव अब भोजन और पानी की तलाश में शहरी सीमा में लगातार प्रवेश कर रहे हैं।
वन विभाग का तत्काल सर्च ऑपरेशन
स्थानीय निवासियों ने तत्काल वन विभाग को इस घटना की सूचना दी।
सूचना मिलते ही वन विभाग की टीम तुरंत मौके पर पहुँची।
देर रात ही वन विभाग की टीम ने पूरे इलाके में सघन सर्च ऑपरेशन शुरू कर दिया।
टीम रात भर तेंदुए की तलाश में जुटी रही ताकि उसे सुरक्षित रूप से पकड़कर वापस जंगल में छोड़ा जा सके।
वन विभाग का मुख्य उद्देश्य है कि तेंदुए को जल्द से जल्द ट्रेंकुलाइज़ कर सुरक्षित स्थान पर पहुँचाया जाए।
यह कदम किसी भी प्रकार की जान-माल की हानि को रोकने के लिए उठाया जा रहा है।
बढ़ती चिंताएं और सुरक्षा के उपाय
जयपुर शहर के आस-पास झालाना और नाहरगढ़ जैसे घने जंगल होने के कारण रिहायशी इलाकों में तेंदुओं का आना अब आम होता जा रहा है।
हालांकि, लाल बहादुर नगर जैसे घनी आबादी वाले क्षेत्र में इसकी मौजूदगी ने सुरक्षा संबंधी चिंताओं को काफी बढ़ा दिया है।
वन विभाग ने कॉलोनीवासियों से विशेष अपील की है कि वे अत्यधिक सावधानी बरतें।
विभाग ने सभी निवासियों को अपने घरों के दरवाज़े बंद रखने और अनावश्यक रूप से बाहर न निकलने की सलाह दी है।
उल्लेखनीय है कि जयपुर में पैंथर घुसने के मामले लगातर सामने आ रहे हैं, जो शहरीकरण और वन्यजीवों के बीच बढ़ते संघर्ष को दर्शाता है।
शहरीकरण और वन्यजीवों का संघर्ष
शहरों का विस्तार और जंगलों का सिकुड़ना वन्यजीवों को भोजन और आश्रय की तलाश में शहरी इलाकों की ओर धकेल रहा है।
यह स्थिति मानव और वन्यजीवों के बीच संघर्ष को जन्म दे रही है, जिससे दोनों के लिए खतरा बढ़ रहा है।
वन विभाग और स्थानीय प्रशासन को इस समस्या के स्थायी समाधान के लिए दीर्घकालिक योजनाएं बनाने की आवश्यकता है।