राजेंद्र गुढ़ा शिवसेना में शामिल: महाराष्ट्र सीएम एकनाथ शिंदे ने गुढ़ा के गांव पहुंचकर ग्रहण करवाई सदस्यता

गहलोत सरकार से बर्खास्त किए मंत्री राजेंद्र गुढ़ा ने शनिवार को शिवसेना ज्वाइन की।  महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने गुढ़ा के गांव पहुंचकर उन्हें शिवसेना की सदस्यता ग्रहण करवाई।  

Rajendra Gudha Joins Shiv Sena

जयपुर | Rajendra Gudha Joins Shiv Sena: राजस्थान की अशोक गहलोत सरकार को विधानसभा में ’लाल डायरी’ लहराकर चुनौती देने वाले कांग्रेस विधायक राजेंद्र सिंह गुढ़ा शिवसेना में शामिल हो गए हैं। 

गहलोत सरकार से बर्खास्त किए मंत्री राजेंद्र गुढ़ा ने शनिवार को शिवसेना ज्वाइन की।  महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने गुढ़ा के गांव पहुंचकर उन्हें शिवसेना की सदस्यता ग्रहण करवाई।  

माना जा रहा है कि राजस्थान में विधानसभा चुनाव से पहले गहलोत सरकार को राजेंद्र गुढ़ा ने फिर से बड़ी चुनौती दे दी है। 

महाराष्ट्र सीएम एकनाथ शिंदे आज सुबह राजेंद्र गुढ़ा के गांव पहुंचे और एक कार्यक्रम के दौरान उन्होंने गुढ़ा को शिवसेना का सदस्य बनाया। 

बेटे के जन्मदिन पर गुढ़ा ने किया आंमत्रित

दरअसल, शनिवार को राजेंद्र गुढ़ा के बेटे शिवम गुढ़ा का जन्मदिन है और इस अवसर पर उन्होंने महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे को आमंत्रित किया था। 

सीएम शिंदे आज सुबह मुंबई एयरपोर्ट से जयपुर पहुंचे और यहां से हेलिकॉप्टर के जरिए झुंझुनूं के उदपुरवाटी में गुढ़ा गांव पहुंचे। 

सीएम अशोक गहलोत पर बरसे शिंदे

सीएम शिंदे ने शिवसेना का दुपट्टा पहनाकर शिवसेना परिवार में राजेंद्र गुढ़ा का स्वागत किया। 

इस दौरान महाराष्ट्र सीएम शिंदे ने राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत पर बरसते हुए कहा कि राजस्थान के सीएम ने एक साल पहले यहीं पर कहा था कि गुढ़ा की वजह से मैं मुख्यमंत्री हूं लेकिन फिर उन्हें ही बर्खास्त कर दिया। 

शिंदे ने ये भी कहा कि इसका जवाब अब चुनावों में जनता देगी। 

कांग्रेस विधायक गुढ़ा क्यों हुए थे बर्खास्त ?

बता दें कि गुढ़ा ने जुलाई में विधानसभा में कानून व्यवस्था को लेकर मंत्री रहते हुए अपनी ही गहलोत सरकार को सवालों के कटघरे में खड़ा कर दिया था। 

गुढ़ा ने विधानसभा में कांग्रसे विधायकों के मणिपुर हिंसा और महिलाओं को निर्वस्त्र घुमाने का मामला उठाने पर हमलावर होते हुए कहा था कि राजस्थान रेप के मामले में नंबर वन बन गया है। हमें मणिपुर पर बात करने से पहले अपने गिरेबां में झांकना चाहिए। 

विधानसभा में यह मुद्दा उठाने के बाद गुढ़ा को उसी दिन देर शाम बर्खास्त कर दिया गया था। 

विधानसभा में लहराई थी ’लाल डायरी’

बर्खास्त होने के बाद गुढ़ा ने गहलोत सरकार के खिलाफ मोर्चा खोल दिया था और विधानसभा के सदन में ’लाल डायरी’ लहराकर पार्टी के नेताओं के खिलाफ जंग का ऐलान कर दिया था।

गुढ़ा का दावा था कि लाल डायरी आरटीडीसी अध्यक्ष धमेंद्र सिंह राठौड़ के घर पड़े इनकम टैक्स छापों से पहले लाई गई थी। 

गुढ़ा ने लाल डायरी के तीन पन्ने भी रिलीज किए थे जिसमें आरसीए चुनावों में लेनदेन का जिक्र था।