मेरी तुच्छ भेंट स्वीकार करें: कांग्रेस विधायक भरत सिंह ने मुंडन करवाकर सीएम अशोक गहलोत को भेजे बाल, कहा- आपका ईमान मर चुका है
विधायक ने आखिर में हिदायत देते हुए सीएम गहलोत को ये भी कहा है कि आप महात्मा गांधी को याद कर उनके बताए गए ‘सात’ पाप पर चिंतन करें क्योंकि मुख्यमंत्री का यह पद स्थाई नहीं है।
कोटा | कोटा में चंबल रिवर फ्रंट की सौगात मिलने से जहां कांग्रेस सरकार के नेताओं में खुशी है वहीं कोटा के ही एक विधायक अपनी ही गहलोत सरकार से इतने खफा दिख रहे हैं कि उन्होंने अपना मुंडन करा कर विरोध जताया है।
कोटा जिले के सांगोद से आने वाले कांग्रेस विधायक भरत सिंह कुंदनपुर वैसे तो हमेशा चर्चा में छाए रहते हैं लेकिन अबकी बार तो उन्होंने हद ही कर दी है।
उन्होंने अपना सिर मुंडवाकर अपने बाल मुख्यमंत्री अशोक गहलोत को भेजे हैं।
विधायक ने एक लेटर लिखा है। जिसमें उन्होंने कहा कि आपका ईमान मर चुका है ऐसे में आपके ईमान के मरने पर मैं मुंडन करवा कर अपने बाल आपको भेंट कर रहा हूं, कृपया यह तुच्छ भेंट स्वीकार करें।
वहीं विधायक ने आखिर में हिदायत देते हुए सीएम गहलोत को ये भी कहा है कि आप महात्मा गांधी को याद कर उनके बताए गए ‘सात’ पाप पर चिंतन करें क्योंकि मुख्यमंत्री का यह पद स्थाई नहीं है।
विधायक भरत सिंह ने कहा कि मंत्री प्रमोद जैन भाया के भ्रष्टाचार को आपने खुला समर्थन दिया जो आपके गांधीवादी स्वभाव को शोभा नहीं देता है।
मीडिया से बात करते हुए कहा विधायक भरत सिंह ने कहा कि मैंने आज सांकेतिक तौर पर मुंडन करवाते हुए विरोध दर्ज करवाया है।
उनका कहना है कि वे कई मुद्दों पर मुख्यमंत्री को लंबे समय से कह रहे हैं लेकिन उनकी समस्याओं पर कोई ध्यान नहीं दिया गया है।
दोबारा बाल आने पर फिर कटवा लूंगा
विधायक सीएम गहलोत से इतने खफा दिखे कि उन्होंने कहा अब मेरे दोबारा बाल आएंगे तो मैं इन्हें फिर से पूरे कटवा लूंगा और अब ऐसे ही रखूंगा।
उन्होंने कहा कि मैं चाहता हूं कि मेरे चेहरे से पूरे प्रदेश में एक संदेश जाए कि किसी विधायक ने इस मुद्दे पर अपना मुंडन तक करवा दिया था।
भरत सिंह रह चुके हैं पंचायती राज मंत्री
कोटा के सांगोद से विधायक भरत सिंह हाड़ौती के दिग्गज कांग्रेस नेता रहे हैं। इनकी यहां के क्षेत्रवासियों में अच्छी खासी पकड़ है।
भरत सिंह गहलोत सरकार के दूसरे कार्यकाल में पंचायती राज मंत्री भी रह चुके हैं।
वहीं, विधायक भरत सिंह का अपनी ही सरकार के प्रति इस कदर से विरोध जताने को लेकर के उनके विरोधियों का कहना है कि वे सब ऐसा इसलिए कर रहे है क्योंकि उन्हें मंत्री नहीं बनाया गया। वे लगातार पिछले साढ़े चार साल से भाजपा के इशारे पर काम कर रहे हैं।