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भजनलाल शर्मा ने पहली बार प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मुलाकात की
आगामी राजस्थान बजट को लेकर भी चर्चा संभव बताई जा रही |
जयपुर | राजस्थान लोकसभा चुनाव के बाद मुख्यमंत्री (CM) भजनलाल शर्मा ने पहली बार प्रधानमंत्री (PM) नरेंद्र मोदी से मुलाकात की है। जानकारी के मुताबिक इस मुलाकात में सीएम (CM) शर्मा ने प्रदेश की सभी 25 सीटों पर भाजपा (BJP) के प्रदर्शन को लेकर चर्चा की। साथ ही आगामी राजस्थान बजट (rajasthan budget) को लेकर भी चर्चा संभव बताई जा रही है।
सीएम (CM) भजनलाल ने राजस्थान की मूलभूत जरूरत को लेकर केंद्र में चर्चा की | इसके बाद वो केंद्रीय खान मंत्री, पेट्रोलियम मंत्री और कोयला मंत्री से मुलाकात करेंगे | ऊर्जा जरूरतों पर चर्चा होगी |
सीएम (CM) के साथ ACS शिखर अग्रवाल, सचिव संदेश नायक और अन्य अधिकारी भी दिल्ली गए हुए हैं, जो बजट को लेकर होने वाली चर्चा में शामिल रहेंगे | राजस्थान में बजट सत्र को लेकर रोडमैप (roadmap) तैयार करेंगे |
चर्चा संभव हार के कारणों पर
राजस्थान में लोकसभा चुनाव के परिणाम को लेकर दो दिन बैक टू बैक (back to back) प्रदेश भाजपा (BJP) मुख्यालय पर मंथन बैठक हुई। इस बैठक में प्रदेश की 11 लोकसभा सीट पर हार के कारणों को लेकर रिपोर्ट तैयार की गई। सूत्रों के मुताबिक इस रिपोर्ट कार्ड को सीएम (CM) भजनलाल शर्मा ने पीएम (PM) मोदी को सौंपा होगा।
राजस्थान विधानसभा चुनाव 2023 में BJP ने बड़ी जीत हासिल की थी | कांग्रेस को सत्ता से हटाकर बीजेपी (BJP) ने बहुमत के साथ सरकार बनाई थी | इसके 6 महीने बाद ही हुए लोकसभा चुनाव BJP कुछ खास प्रदर्शन नहीं कर पाई |
25 लोकसभा सीटों में से बीजेपी (BJP) सिर्फ 14 पर ही सिमट कर रह गई | बताया जा रहा है कि राजस्थान के लोकसभा चुनाव परिणामों के बाद केंद्रीय नेतृत्व ज्यादा खुश नहीं है | सत्ता या संगठन में उलटफेर की सियासी चर्चाओं के बीच सीएम (CM) का अचानक दिल्ली जाना सियासी समीकरणों की ओर इशारा कर रहा है |
हैट्रिक में रोड़ा बनी आपसी कलह और गुटबाजी
भाजपा (BJP) की लोकसभा चुनाव की मंथन बैठक में कई नेताओं ने दर्द बयां किया। प्रत्याशियों का कहना था कि इन नेताओं ने अंदरखाने साथ रहने का नाटक किया, लेकिन उनके समर्थकों ने पार्टी को हरवाने में दिन-रात एक कर दिया।
बैठक में सामने आया कि कांग्रेस ने जिस तरह एससी (SC)-एसटी (ST) आरक्षण खत्म होने का प्रचार किया। उसका समय पर जवाब नहीं दे सके। इससे एससी-एसटी वोट का काफी नुकसान हुआ। इसके अलावा ओवर कॉन्फिडेंस (over confidence) भी हार का बड़ा कारण रहा। इसी प्रकार संगठन के जिन नेताओं के पास बड़े पद थे, वे भी वोट नहीं दिला सके।
खराब टिकट वितरण भी बना वजह
इसके अलावा कुछ नेताओं ने हार के बड़े कारणों में खराब टिकट वितरण और बड़े नेताओ का अपनी ही सीटों पर व्यस्त रहना भी बताया है। चूरू सीट पर हार के कारणों में एक बड़ा कारण चुनाव का जातीय आधार पर लड़ा जाना भी माना गया।
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