kinnar mahamandaleshwar pushpa mai: किन्नर अखाड़े की राजस्थान से पहली महिला महामंडलेश्वर पुष्पा माई ने खोले कई राज, कहा- समाज ने भुलाया रानी पद्मावती के साथ 500 किन्नरों का बलिदान

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Jaipur: किन्नर अखाड़ा की महामंडलेश्वर पुष्पामाई दशकों से अपने समाज के हित और हकूक की लड़ाई लड़ रही है। ना केवल सरकार बल्कि पुष्पमाई ने किन्नर समाज के लिए सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा भी खटखटाया है।

सदियों से वंचित और अपेक्षित किन्नर समाज के बारे में बात करते हुए पुष्पमाई ने कहा कि किन्नर समाज का उल्लेख रामायण से लेकर अनेक पौराणिक और ऐतिहासिक किताबों में मिलता है। एक रोचक जानकारी देते हुए पुष्पमाई ने बताया कि चित्तौड़ की रानी पद्मावती के साथ भी किन्नर समाज ने अपना बलिदान दिया था और भगवान् श्रीराम को भी किन्नर समाज ने अपनी गोदी में खिलाया था। 

Jaipur: सनातन सभ्यता, संस्कृति में किन्नरों का स्थान देव,यक्ष, किन्नर इस तरह से आता है, बाकि सब बाद में। इस समाज का स्थान बहुत ऊँचा माना जाता रहा है। लेकिन आजादी के बाद इस समाज की स्थिति दयनीय होती गई। ना तो समाज ने इन्हें अपनाया ना ही सरकार ने। 

हमारी बात किन्नर अखाड़ा की महामंडलेश्वर पुष्पामाई से हुई उन्होंने समाज और सरकार पर गंभीर आरोप लगाए हैं। पुष्पा माई का कहना है कि किन्नर समाज वो समाज है जिसने प्रभु श्री राम और श्री कृष्ण को अपनी गोद में खिलाया है। यही नहीं किसी के भी घर बच्चा पैदा होने पर सबसे पहले बलैया लेने किन्नर समाज जाता है। 

पुष्पामाई ने कहा कि महारानी पद्मावती के जौहर में भी 500 किन्नरों ने अपना योगदान दिया था, लेकिन यह बात कोई याद नहीं रखता और पाठ्यक्रम में भी इसका जिक्र नहीं है।

उन्होंने कहा कि हमारे समाज को सभ्य कहे जाने वाले समाज ने ही भीख मांगने, सेक्स वर्कर जैसे कामों के लिए मजबूर किया है। समाज हमें हीन दृष्टि से देखता है, और सरकार की तरफ से जॉब के हमें पर्याप्त अवसर नहीं मिलते। किन्नर समाज को डॉक्यूमेंट्स बनवाने में भी एक लंबी प्रक्रिया से गुजरना पड़ता है। 

विधानसभा में किन्नर समाज के लिए बिल की मांग पर पुष्पामाई कहती हैं विधानसभा में बैठे लोगों को हम माई-बाप मानते हैं वो क्यों नहीं हमारे बारे में सोचते। उन्होंने कहा कि उन्होंने स्वंय कई बार समाज कल्याण विभाग के मंत्री टीकाराम जूली से बात की है, लेकिन मिले हैं तो सिर्फ आश्वासन। काम कोई नहीं करता। 

किन्नर अखाड़ा की महामंडलेश्वर पुष्पामाई दशकों से अपने समाज के हित और हकूक की लड़ाई लड़ रही है। ना केवल सरकार बल्कि पुष्पमाई ने किन्नर समाज के लिए सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा भी खटखटाया है। सदियों से वंचित और अपेक्षित किन्नर समाज के बारे में बात करते हुए पुष्पमाई ने कहा कि किन्नर समाज का उल्लेख रामायण से लेकर अनेक पौराणिक और ऐतिहासिक किताबों में मिलता है। एक रोचक जानकारी देते हुए पुष्पमाई ने बताया कि चित्तौड़ की रानी पद्मावती के साथ भी किन्नर समाज ने अपना बलिदान दिया था और भगवान् श्रीराम को भी किन्नर समाज ने अपनी गोदी में खिलाया था। 

31 मार्च को अन्तर्राष्ट्रीय ट्रांसजेंडर विजिब्लिटी डे के बारे में पुष्पामाई ने कहा कि अगर अन्य समाज के लोग सच में हमें सम्मान देना चाहते हैं अपनाना चाहते हैं तो इस दिन सोशल मीडिया पर हमारे समाज के बारे में 2 शब्द लिख दें वही काफी है। 

बातचीत के दौरान किन्नर महामंडलेश्वर पुष्पामाई का छलका दर्द, सुनिए ये वीडियो-

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