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प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी बुधवार को राजस्थान के अजमेर जिले में स्थित तीर्थराज पुष्कर पहुंचे। यहां उन्होंने जगत पिता भगवान ब्रह्मा जी के मंदिर दर्शन कर पूजा-अर्चना की।
अजमेर | प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी बुधवार को राजस्थान के अजमेर जिले में स्थित तीर्थराज पुष्कर पहुंचे।
यहां उन्होंने जगत पिता भगवान ब्रह्मा जी के मंदिर दर्शन कर पूजा-अर्चना की।
पीएम मोदी का यहां पर तमिलनाडु इलायची की विशेष माला से स्वागत किया गया और जयपुर का तुरेदार केसरिया साफा भी पहनाया गया।
#WATCH | PM Modi offers prayers at Brahma temple in Rajasthan's Pushkar pic.twitter.com/zG3FVQjwmA
— ANI (@ANI) May 31, 2023
बता दें कि प्रधानमंत्री बनने के बाद नरेन्द्र मोदी पहली बार पुष्कर पहुंचे हैं।
मंदिर के पुजारियों ने पीएम मोदी को भगवान ब्रह्मा गायत्री की तस्वीर भेंट कर सम्मानित किया।
इस दौरान पीएम मोदी ने भी स्थानीय मठों के संत महंतों का अभिनंदन कर उनसे आशीर्वाद लिया।
आपको बता दें कि राजस्थान के पुष्कर में बना भगवान ब्रह्मा जी का ये मंदिर न सिर्फ भारत बल्कि पूरी दुनिया में ब्रह्मा जी का एकमात्र मंदिर है।
#WATCH | Prime Minister Narendra Modi offers prayers at Brahma temple in Pushkar, Rajasthan. pic.twitter.com/3f9TNlXzOw
— ANI (@ANI) May 31, 2023
हिन्दू धर्म में भगवान ब्रह्मा जी को सृष्टि का रचियता माना जाता है। आइए जानते हैं मंदिर की पौराणिक कथा....
हिन्दू धर्मग्रन्थ पद्म पुराण के अनुसार, धरती पर वज्रनाश नामक राक्षस ने जब उत्पात मचा रखा था, तब भगवान ब्रह्मा जी ने उसका वध किया था।
इस दौरान भगवान के हाथों से तीन जगहों पर पुष्प गिरा था, इन तीनों जगहों पर तीन झीलें बन गई।
जिनमें से एक झील पुष्कर है। इस घटना के बाद ब्रह्मा जी ने यज्ञ करने का फैसला किया।
अब यज्ञ में पूर्णाहुति के लिए धर्मपत्नी का होना जरूरी होता है और सरस्वती माता के न मिलने से उन्होंने गुर्जर समुदाय की एक कन्या ’गायत्री’ से विवाह कर इस यज्ञ को पूर्ण किया।
इसी दौरान माता सरस्वती भी वहां पहुंच गई और ब्रह्मा जी के बगल में दूसरी कन्या को बैठा देख क्रोधित हो गईं।
माता ने ब्रह्मा जी को श्राप दिया कि देवता होने के बावजूद कभी भी उनकी पूजा नहीं होगी।
बाद में सभी देवताओं के समझाने पर इस श्राप के असर को कम करने के लिए माता ने यह वरदान दिया कि एक मात्र पुष्कर में उनकी उपासना संभव होगी।